बांग्लादेश का 50वां विजय दिवस: राष्‍ट्रपति कोविंद ने विशेष अतिथि के रूप में हिस्सा लिया

बांग्लादेश ने अपना 50वां विजय दिवस 16 दिसम्बर को मनाया था. भारत के राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने इस समारोह में हिस्‍सा लिया था. राष्‍ट्रपति कोविंद ने बांग्‍लादेश के राष्‍ट्रपति मोहम्‍मद अब्‍दुल हमीद के निमंत्रण पर इस कार्यक्रम में हिस्‍सा लिया था. श्री कोविंद राष्‍ट्रीय परेड ग्राउंड में विजय दिवस समारोह में विशेष अतिथि थे.

राष्‍ट्रपति कोविंद ने इस यात्रा के दौरान बांग्‍लादेश के साथ शिष्‍टमंडल स्‍तर की बैठक की, जिसमें आपसी हित के विभिन्‍न मुद्दों पर चर्चा हुई. उनकी यात्रा के दौरान बंगलादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना और वहां के विदेश मंत्री एके अब्‍दुल मोमिन राष्ट्रपति से मिलने गये थे.

उन्‍होंने आज बांग्‍लादेश के मुक्ति योद्धाओं, 1971 युद्ध के भारतीय वीरों, प्रख्यात नागरिकों, भारतीय समुदाय के लोगों तथा बांग्‍लादेशी समाज के विभिन्‍न वर्गों के लोगों से बातचीत की.

राष्ट्रपति की यात्रा के दौरान कई महत्‍वपूर्ण घोषणाएं हुई. इनमें ढाका में लिबरेशन वॉर संग्रहालय को बंगबंधु बापू डिजिटल प्रदर्शनी उपहार में देने, और दिल्ली विश्वविद्यालय में बंगबंधु चेयर के पहले व्यक्ति की घोषणा शामिल है.

मुख्य बिंदु

भारत और बांग्लादेश, 16 दिसम्‍बर को पाकिस्‍तान पर विजय उत्‍सव के रूप मनाते हैं. 1971 में हमारी संयुक्‍त सेनाओं के समक्ष पाकिस्‍तान की सेना ने समर्पण किया था, जिसकी परिणति बांग्‍लादेश की स्‍वतंत्रता के रूप में हुई थी.

बांग्लादेश के साथ भारत के संबंध ‘पड़ोसी पहले’ और ‘एक्ट ईस्ट पॉलिसी’ के मुख्य स्तंभों में से एक है. दोनों देशों के बीच व्यापार, संपर्क, ऊर्जा, बिजली, जल संसाधन, सीमा प्रबंधन, रक्षा और सुरक्षा, संस्कृति तथा लोगों से लोगों के बीच संपर्क सहित विभिन्न क्षेत्रों में मजबूत और बहुआयामी आपसी सहयोग है.

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