लेफ्टिनेट कर्नल ज्योति शर्मा भारतीय सेना की पहली महिला न्यायाधीश नियुक्त हुईं

भारतीय सेना ने हाल ही में लेफ्टिनेट कर्नल ज्योति शर्मा को न्यायाधीश नियुक्त किया है. ज्योति शर्मा भारतीय सेना की महिला न्यायाधीश एडवोकेट जनरल अधिकारी के रूप में नियुक्त किया गया है. यह पहला मौका है जब भारतीय सेना में किसी महिला न्यायाधीश को नियुक्त किया गया है.

लेफ्टिनेट कर्नल ज्योति शर्मा विदेश से जुडे़ मामले देखेंगी. वह सैन्य कानूनी विशेषज्ञ के रूप में पूर्वी अफ्रीकी देश सेशेल्स की सरकार को अपनी सेवाएं देंगी.

न्यायाधीश एडवोकेट जनरल: एक दृष्टि
भारत में न्यायाधीश एडवोकेट जनरल अधिकारी सेना के न्यायिक प्रमुख होते हैं. यह पद सेना के लेफ्टिनेंट को दिया जाता है. इसमें कानूनी रूप से सेना के योग्य अधिकारी शामिल होते है. एडवोकेट जनरल अधिकारी सभी तरह से सेना को कानूनी मदद देते हैं.

भारत के 47वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में शरद अरविंद बोबडे ने शपथ ली

सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश शरद अरविंद बोबडे ने भारत के 47वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में 18 नवम्बर को शपथ ली. राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद ने राष्‍ट्रपति भवन में उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई. न्‍यायमूर्ति रंजन गोगोई के 17 नवम्बर को सेवानिवृत्‍त हो जाने के बाद श्री बोबड़े भारत के मुख्‍य न्‍यायाधीश बने हैं. न्‍यायमूर्ति बोबड़े का कार्यकाल 23 अप्रैल, 2021 तक होगा.

न्यायमूर्ति बोबड़े 12 अप्रैल, 2013 में उच्‍चतम न्‍यायालय के न्‍यायाधीश के रूप में नियुक्‍त किये गये थे. वे ऐतिहासिक अयोध्‍या फैसला सुनाने वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ में शामिल थे.

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने जस्टिस बोबडे के मुख्य न्यायाधीश बनाए जाने को 29 अक्टूबर को मंजूरी दे दी थी. प्रक्रिया के अनुसार सेवानिवृत्त होने वाले मुख्य न्यायधीश अगले मुख्य न्यायधीश के नाम की अनुशंसा विधि मंत्री को भेजते हैं. विधि मंत्री इस नाम को मंत्रीपरिषद् के समक्ष प्रस्तुत करते हैं और मंत्रीपरिषद् की सहमति से राष्ट्रपति मंजूरी प्रदान करते हैं.

न्यायमूर्ति अमरेश्वर प्रताप साही ने मद्रास उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ ली

न्यायमूर्ति अमरेश्वर प्रताप साही ने 11 नवम्बर को मद्रास उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ ली. तमिलनाडु के राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित ने शपथ ग्रहण समारोह के दौरान उन्हें पद की शपथ दिलायी.

मौजूदा नियुक्ति के पहले साही पटना उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश थे. साही ने विजया ताहिलरमानी का स्थान लिया है. ताहिलरमानी ने मेघालय स्थानांतरण किए जाने पर पुनर्विचार के लिए उनके आग्रह पर उच्चतम न्यायालय के कॉलेजियम के इनकार के बाद इस्तीफा दे दिया था.

जस्टिस संजय करोल ने पटना हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली

जस्टिस संजय करोल ने 11 नवम्बर को पटना हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली. बिहार के राज्यपाल फागू चौहान उन्हें पद व गोपनीयता की शपथ दिलाई.

पटना हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एपी शाही का स्थानांतरण मद्रास हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश पद पर होने के बाद जस्टिस करोल पटना हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बनाए गए हैं.

जस्टिस करोल इससे पूर्व त्रिपुरा हाईकोर्ट में चीफ जस्टिस थे. साल 1998 से 2003 तक वे हिमाचल प्रदेश के महाधिवक्ता रहे थे. 25 अप्रैल 2017 से 5 अक्टूबर 2018 तक हिमाचल प्रदेश के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश के रूप में काम किया और 14 नवम्बर 2018 को त्रिपुरा हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बने थे.

हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस की नियुक्ति: मुख्य तथ्य

  • संविधान के अनुच्छेद 214 से 237 तक में राज्य की न्यापालिका का उल्लेख है. संविधान का अनुच्छेद 214 यह बतलाता है कि प्रत्येक राज्य में एक न्यायालय होगा.
  • संविधान के अनुच्छेद 216 के अनुसार राष्ट्रपति आवश्यकतानुसार प्रत्येक उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की संख्या निर्धारित करता है.
  • अनुच्छेद 217 उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की नियुक्ति से सम्बंधित है. राष्ट्रपति सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश तथा सम्बंधित राज्य के राज्यपाल के परामर्श से उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति करता है.

अर्जेंटीना के राफेल ग्रॉसी अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी के प्रमुख निर्वाचित हुए

अर्जेंटीना के राफेल ग्रॉसी संयुक्त राष्ट्र के अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) के प्रमुख के रूप में 29 अक्टूबर को निर्वाचित हुए. ग्रॉसी ने रोमानिया के राजनयिक कॉर्नेल फेरूटा को पराजित किया. IAEA की पूर्व प्रमुख जापान की यूकिया अमानो की जुलाई में मौत के बाद यह चुनाव कराना पड़ा. राफेल IAEA के 6ठे प्रमुख हैं.

IAEA में अर्जेंटीना के राजदूत ग्रॉसी का निर्वाचन ऐसे महत्वपूर्ण समय में हुआ है जब ईरान 2015 के ऐतहासिक समझौते के तहत अपनी प्रतिबद्धताओं को धीरे-धीरे कम कर रहा है. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस समझौते से अपने देश को अलग कर लिया था.

अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) संयुक्त राष्ट्र की परमाणु निगरानी संस्था है. इका मुख्यालय ऑस्ट्रिया के वियना में है. विश्व के 171 सदस्य राष्ट्र हैं.

देश के कई राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों में नए राज्यपालों की नियुक्ति की घोषणा की गयी

राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 25 अक्टूबर को देश के कई राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों में नए राज्यपालों की नियुक्ति की घोषणा की. उन्होंने नवगठित जम्मू-कश्मीर और लद्दाख केंद्र शासित प्रदेशों के पहले उपराज्यपाल की नियुक्ति की भी घोषणा की. आर्टिकल 370 हटाने के बाद राज्य का पुनर्गठन जम्मू-कश्मीर और लद्दाख केंद्र शासित प्रदेशों में किया गया था.

  1. जम्मू-कश्मीर: गिरीश चंद्र मुर्मू को जम्मू-कश्मीर का पहला उपराज्यपाल नियुक्त किया गया है. पुर्नगठन के बाद जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश बनाया गया है और अब वहां राज्यपाल की जगह उप-राज्यपाल होंगे. भारतीय प्रशासनिक अधिकारी (IAS) गिरीश चंद्र इस समय वित्त मंत्रालय में एक्सपेंडिचर सेक्रेटरी हैं. मुर्मू नवंबर में सेवानिवृत होने जा रहे हैं.
  2. लद्दाख: IAS अधिकारी रहे राधा कृष्‍णा माथुर को जम्‍मू-कश्‍मीर से अलग होकर बने केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख का पहला उप-राज्‍यपाल नियुक्‍त किया गया है. नवंबर, 2018 में वह देश के मुख्‍य सूचना आयुक्‍त (CIC) पद से सेवानिवृत हुए थे.
  3. गोवा: जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक को गोवा का राज्यपाल नियुक्त किया गया है.
  4. मिजोरम: पीएस श्रीधरन पिल्लई को मिजोरम का राज्यपाल बनाया है.
  5. लक्षद्वीप: दिनेश्वर शर्मा को लक्षद्वीप का प्रशासक नियुक्त किया गया है. वे जम्मू-कश्मीर वार्ता के लिए केंद्र सरकार के अधिकृत पूर्व-प्रतिनिधि थे.

पंकज कुमार भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण के नये CEO नियुक्त किये गये

केंद्र सरकार ने 22 अक्टूबर को आईएएस अधिकारी पंकज कुमार को भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (UIDAI) का नया CEO नियुक्त किया. पंकज कुमार वर्तमान में इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव हैं.

UIDAI एक वैधानिक प्राधिकरण है, जिसे आधार एक्ट 2016 के प्रावधानों के तहत सरकार ने इलेक्ट्रॉनिक्स एंड इंफामेर्शन टेक्नोलॉजी मंत्रालय के तहत स्थापित किया है. इसे यूनीक आइडेंटिफिकेशन नंबर (UID), जिसे आधार भी कहा जाता है, जारी करने का अधिकार है.

सुप्रीम कोर्ट के 47वें मुख्य न्यायधीश के रूप में जस्टिस शरद अरविंद बोबडे की सिफारिश की गयी

सुप्रीम कोर्ट के मौजूदा मुख्य न्यायधीश रंजन गोगोई ने जस्टिस शरद अरविंद बोबडे को सुप्रीम कोर्ट के 47वें मुख्य न्यायधीश बनाने की केंद्र सरकार से सिफारिश की है. जस्टिस शरद अरविंद बोबडे सुप्रीम कोर्ट के दूसरे वरिष्ठतम न्यायाधीश हैं.

प्रक्रिया के मुताबिक वर्तमान मुख्य न्यायधीश ही अगले मुख्य न्यायधीश की सिफारिश करता है. सुप्रीम कोर्ट 46वें मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई 17 नवंबर 2019 को सेवानिवृत्त हो रहे हैं.

पंजाब के लोकपाल के रूप में रिटायर्ड जस्टिस विनोद कुमार शर्मा नियुक्त किये गये

पंजाब सरकार ने रिटायर्ड जस्टिस विनोद कुमार शर्मा को लोकपाल नियुक्त किया है. जस्टिस सतीश कुमार मित्तल ने अप्रैल 2018 में लोकपाल के पद से इस्तीफा दे दिया था. तब से यह पद रिक्त पड़ा था. रिटायर्ड जस्टिस विनोद शर्मा लोकपाल यह पद 6 साल की अवधि के लिए संभालेंगे.

विनोद पंजाब व हरियाणा हाईकोर्ट में जज रह चुके हैं. इसके बाद, उन्हें मद्रास उच्च न्यायालय में स्थानांतरित कर दिया गया था, जहाँ से वह 24 मई, 2013 को सेवानिवृत्त हुए थे.

देश के सात उच्च न्यायालय में नये मुख्य न्यायाधीशों की नियुक्ति को मंजूरी दी गयी

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने देश के सात उच्च न्यायालय (हाईकोर्ट) में नये मुख्य न्यायाधीशों की नियुक्ति को 4 अक्टूबर को मंजूरी दी. ये नियुक्ति इस प्रकार है:

  1. पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति रवि शंकर झा
  2. गुवाहाटी उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति अजय लाम्बा
  3. राजस्थान उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति इंद्रजीत महंती
  4. केरल उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति ए मनि कुमार
  5. हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति एलएन स्वामी
  6. आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति जेके माहेश्वरी
  7. सिक्किम उच्च न्यायालय: न्यायमूर्ति एके गोस्वामी

हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस की नियुक्ति: मुख्य तथ्य

  • संविधान के अनुच्छेद 214 से 237 तक में राज्य की न्यापालिका का उल्लेख है. संविधान का अनुच्छेद 214 यह बतलाता है कि प्रत्येक राज्य में एक न्यायालय होगा.
  • संविधान के अनुच्छेद 216 के अनुसार राष्ट्रपति आवश्यकतानुसार प्रत्येक उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की संख्या निर्धारित करता है.
  • अनुच्छेद 217 उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की नियुक्ति से सम्बंधित है. राष्ट्रपति सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश तथा सम्बंधित राज्य के राज्यपाल के परामर्श से उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति करता है.

सरकार ने सुरजीत एस भल्ला को आईएमएफ में कार्यकारी निदेशक नियुक्त किया

सरकार ने अर्थशास्त्री सुरजीत एस भल्ला को अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष में भारत की ओर से कार्यकारी निदेशक नियुक्त किया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में 1 अक्टूबर को मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति ने उनकी नियुक्ति को मंजूरी दी. उनकी नियुक्ति कार्यभार संभालने की तारीख से तीन साल के लिए की गयी है.

प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री और स्तंभकार सुरजीत भल्ला प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार परिषद के अंशकालिक सदस्य रह चुके हैं. उन्होंने दिसंबर 2018 में अपने पद से इस्तीफा दे दिया था.

थलसेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी के अध्यक्ष नियुक्त किये गये

थलसेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत 27 सितम्बर को चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी (COSC) के अध्यक्ष नियुक्त किये गये. इससे पहले यह पद वायुसेना प्रमुख एयरचीफ मार्शल बीएस धनोआ के पास था. धनोआ 30 सितम्बर को सेवानिवृत्त हो रहे हैं.

वर्तमान में थलसेना अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत वरिष्ठतम सेनाध्यक्ष हैं. जनरल बिपिन रावत 31 दिसंबर 2019 को सेवानिवृत्त होंगे. उन्होंने 31 दिसंबर, 2016 को सेना प्रमुख पद संभाला था.

COSC क्या है?
COSC तीनों सेनाध्यक्षों को मिलकर बनी हुई एक कमेटी है. तीनों सेनाध्यक्षों में से वरिष्ठतम सेनाध्यक्षों इसके अध्यक्ष होते हैं. COSC के अध्यक्ष पर तीनों सेनाओं के बीच तालमेल सुनिश्चित करने और एक साझा रणनीति तैयार करने की जिम्मेदारी होती है.